लोक आस्था के महापर्व चार दिवसीय छठ का अनुष्ठान शनिवार को सर्वार्थ सिद्धि और शोभन योग में नहाय-खाय से शुरू हो गया. आज रविवार (26 अक्टूबर) को छठ पूजा के दूसरे दिन खरना में व्रती पूरे दिन उपवास रखेंगी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह समेत कई नेताओं ने छठ की शुभकामनाएं दी हैं.
पीएम मोदी ने आज एक्स पर पोस्ट कर सभी को महापर्व छठ के खरना पूजा की शुभकामनाएं दी. उन्होंने सभी व्रतियों को सादर नमन किया. पीएम मोदी ने कहा कि श्रद्धा और संयम के प्रतीक इस पावन अवसर पर गुड़ से तैयार खीर के साथ ही सात्विक प्रसाद ग्रहण करने की परंपरा रही है. मेरी कामना है कि इस अनुष्ठान पर छठी मइया हर किसी को अपना आशीर्वाद दें.
आप सभी को महापर्व छठ की खरना पूजा की असीम शुभकामनाएं। सभी व्रतियों को सादर नमन! श्रद्धा और संयम के प्रतीक इस पावन अवसर पर गुड़ से तैयार खीर के साथ ही सात्विक प्रसाद ग्रहण करने की परंपरा रही है। मेरी कामना है कि इस अनुष्ठान पर छठी मइया हर किसी को अपना आशीर्वाद दें।…
— Narendra Modi (@narendramodi) October 26, 2025
छठ पूजा के कार्यक्रम में शामिल हो सकते हैं पीएम मोदी
देश की राजधानी दिल्ली में भी छठ महापर्व की धूम है. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक पीएम मोदी मंगलवार को छठ पूजा के कार्यक्रमों में शामिल होने के लिए वासुदेव घाट जा सकते हैं. इससे पहले पिछले महीने भी पीएम मोदी ने महाअष्टमी के दिन दक्षिण दिल्ली के चित्तरंजन पार्क में दुर्गा पूजा में हिस्सा लिया था.
छठ पूजा में ‘खरना’ का अत्यंत पावन महत्व है। ‘खरना’ से ही छठी मैया के व्रत, उपासना और आराधना की शुरुआत होती है।
यह पावन अवसर आप सभी के जीवन में कल्याण का माध्यम बने। pic.twitter.com/zoumdAzRWY
— Amit Shah (@AmitShah) October 26, 2025
अमित शाह ने दी छठ की शुभकामनाएं
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने एक्स पर पोस्ट कर कहा कि छठ पूजा में ‘खरना’ का अत्यंत पावन महत्व है. ‘खरना’ से ही छठी मैया के व्रत, उपासना और आराधना की शुरुआत होती है. यह पावन अवसर आप सभी के जीवन में कल्याण का माध्यम बने.
बता दें कि कार्तिक शुक्ल पंचमी यानि आज रविवार को लोहंडा (खरना) में व्रती पूरे दिन का उपवास कर शाम में पूजा कर प्रसाद ग्रहण करेंगी. इसके साथ ही व्रतियां 36 घंटे का निर्जला उपवास का संकल्प लेंगी. खरना का प्रसाद व्रती मिट्टी के चूल्हे पर आम की लकड़ी से खीर और रोटी बनाएंगी. सोमवार शाम को व्रती अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य देंगी. बता दें कि खरना का प्रसाद व्रतियों का अंतिम सात्विक भोजन होता है, जो मन और शरीर को तपस्या के लिए तैयार करता है.
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